Print- 250 R.
E-Boo- 100 R.
ISBN- N. -978-93-5321-564-4 ( पुस्तक प्रकृति- पदार्थ विज्ञान )
चैतन्य पदार्थ
नफे सिंह कादयान
(प्रथम संस्करण वर्ष- print 2013, द्वितीय- 2018)
( हरियाणा साहित्य अकादमी के सौजन्य से प्रकाशित, वर्ष- 2013)
पुस्तक का नाम:- चैतन्य पदार्थ।
लेखक:- नफे सिंह कादयान।
गगनपुर, (अम्बाला) बराड़ा-133201,
मो०-9991809577
E-mail-nkadhian@gmail.com,
kadhian@yahoo.com,
F.B.- nafe.singh85@gmail.com,
Tw.– NSkadhianwriter@
कम्प्यूटर टाईप सैटिंग:- नफे सिंह कादयान।
टाईटल :- ,,
चित्राकंन:- © फ्री वेबसाइटें, नफे सिंह कादयान।
प्रकाशक, मुद्रक:- कादयान प्रकाशन बराड़ा अम्बाला।
कार्यालय:- कादयान प्रकाशन, रामलीला ग्राऊड बराड़ा, अम्बाला (हरि०)
©कॉपी राइट व सभी कानूनी दायित्व:- लेखकाधीन।
वर्ष- 2013
हरियाणा साहित्य अकादमी द्वारा चैतन्य पदार्थ पुस्तक के लिये श्रेष्ठ कृति पुरस्कार- वर्ष 2017
e-book-2018ISBN-N. -978-93-5321-564-4
मूल्य:- 250/ रूपये।
विदेश में:- 15 यु एस डॉलर।
अनुक्रम पृ. स.
1 - चैतन्य पदार्थ - 7
2- पदार्थ उत्पति विचार- 28
3- ग्रह नक्षत्रों की उत्पति - 48
4- पृथ्वी मे दहन क्रियाएँ- 57
5- जैव उत्पति- 82
6- मानवजन्य दहन क्रियाएँ- 95
एवं उनका प्रभाव- 120
7- पर्यावरण की रक्षा- 133
8- वनस्पति महत्व- 152
उद्देश्य
प्रस्तुत पुस्तक में निरन्तर परिवर्तित होते हुए पदार्थ का अवलोकन किया गया है। पदार्थिय दहन क्रिया के फलस्वरूप ऊर्जा रूपान्तरण चक्र चलता है जिसमें नाना प्रकार के जैव-अजैव कारक उत्पन्न होकर अणुवीय सघन आबन्ध तोड़ उसे विरलता की और परिवर्तित करने का माध्यम बनते हैं। निर्जीव अणु ऊर्जा दहन क्रम में जैव इकाइयों का रूप धारण कर विभिन्न रचनाएँ बनाते हैं जो स्वतंत्र रूप मे दहन क्रियायाओं का हिस्सा बनती हैं। शेष प्राणी अधिकतर सांसों द्वारा ही ऊर्जा नष्ट करते हैं तथापि मानव सांसों के अतिरिक्त भी अपने क्रिया कलापों द्वारा व्यापक स्तर पर ऊर्जा नष्ट करता है। उसके सभी अविष्कार ऊर्जा दहन पर आधारित हैं। मानव द्वारा पदार्थ को अनेक रूपो में ढाल कर बनाई गई आकृतियों का प्राकृतिक रूप से कोई मुल्य नही है बल्कि उनसे पर्यावरण प्रदूषित हो रहा है। वातावरण जहरीला कर उसने अपना व शेष प्राणियों का जीवन भी खतरे में डाल दिया है।
प्रस्तुत 'चैतन्य पदार्थ, पुस्तक पदार्थ एवं जीवों की उत्पति पर विचार करते हुए मानव द्वारा निरन्तर जारी अतिरिक्त ऊर्जा दहन की तरफ ईशारा करती है। इस अतिरिक्त दहन के फलस्वरूप आदि से अनेक अवरोधो का सामना करके बनी हुई जैव श्रृंखलाएँ विलुप्त हो सकती हैं। इस पुस्तक मे मैने पर्यावरण सुधार के लिए ऐसा कुछ नया लिखने की कोशिश की है जो मेरे विचार से पहले कभी नही लिखा गया। पदार्थ निर्माण एवं जैव उत्पति की मेरी प्रस्तुत अवधारणा वैज्ञानिक खोजो व धार्मिक मान्यताओं से हटकर है इसलिए मै जानता हूँ इन पर सहज विश्वास करना कठिन होगा। यह मेरे द्वारा अनेक वर्षों से स्वय को जानने के लिए उपजे प्रश्रों के उत्तर मे सोची गई अवधारणाएं हैं। मै सभी सरकारी गैर सरकारी लोगों से विनर्म निवेदेन करता हूँ की वे पर्यावरण सुधार के लिए सभी चीजों का एक बार ध्यानपूर्वक अवलोकन करें ताकी अव्यवस्थित तरीके से हो रहे ऊर्जा दहन को व्यवस्थित किया जा सके।
N.S kadhian
BẠN ĐANG ĐỌC
चैतन्य पदार्थ Chetanya Padharth
Tiểu Thuyết Chungउद्देश्य प्रस्तुत पुस्तक में निरन्तर परिवर्तित होते हुए पदार्थ का अवलोकन किया गया है। पदार्थिय दहन क्रिया के फलस्वरूप ऊर्जा रूपान्तरण चक्र चलता है जिसमें नाना प्रकार के जैव-अजैव कारक उत्पन्न होकर अणुवीय सघन आबन्ध तोड़ उसे विरलता की और परिवर्तित...